दिनांक 15 फ़रवरी 2023 को प्रातः 4-5 बजे भरतपुर ज़िले के पहाड़ी थानांतर्गत ग्राम घाटमीका निवासी नासिर पुत्र ग़नी (25) तथा जुनैद पुत्र हारून (35) की 15 फरवरी 2023 को बेरहमी के साथ जला कर हत्या कर दी गई। प्राप्त जानकारी के अनुसार, हत्यारे उन्हें पहले फ़िरोज़पुर झिरका थाने में ले कर गए परन्तु अधिक घायल होने के कारण वहाँ के पुलिस अधिकारियों ने उन्हें अपनी सुरक्षा में लेने के बजाए अस्पताल ले जाने को कह कर भेज दिया जिसके बाद हत्यारे उन्हें घायल अवस्था में ही गाड़ी में डाल कर घुमाते रहे फिर भिवानी ज़िले के लोहारू में ले जा कर उन्ही की बोलेरो कार में डाल कर जला दिया।
पुलिस एवं प्रशासन की ओर से लापरवाही पर आक्रोश प्रकट करने के लिए दिनांक 24 फरवरी 2023 को मोती डूंगरी रोड पर एक प्रदर्शन तथा आम सभा का भी आयोजन किया गया। इसके अतिरिक्त मृतकों के परिजनों एवं ग्रमीणों द्वारा भी स्थानीय तौर पर अनेक धरने एवं प्रदर्शन किये। गत 6 मार्च 2023 को प्रदेश के प्रमुख सामाजिक एवं मानवाधिकार संगठनों की एक सभा आयोजित की गई जिसमें सभी धर्मों से समबन्धित लोग शामिल थे। बैठक में नासिर-जुनैद हत्याकण्ड के सभी पहलुओं पर विचार किया गया। सभी संगठनों ने राज्य सरकार तथा पुलिस द्वारा अब तक की गई कार्रवाई से असंतोष व्यक्त किया। संगठनों ने इस बात पर भी नाराज़गी व्यक्त की कि इस सम्बन्ध में अब तक पुलिस ने केवल एक ही आरोपी को गिरफ़्तार किया है जबकि मुख्य आरोपी मोहित यादव उर्फ मोनू मानेसर सहित अन्य आठ आरोपी अभी तक पुलिस की पकड़ से दूर हैं। संगठनों ने अब तक सरकार द्वारा दिये गए मुआवज़े पर भी असंतोष प्रकट किया।
ध्यान देने योग्य बिन्दुः
▪️ थाना फ़िरोज़पुर झिरका के अधिकारियों ने अधिक घायल होने के कारण नासिर व जुनेद को अपने क़ब्ज़े में नहीं लिया और उन्हें अपराधियों ही के हवाले छोड़ दिया। जबकि यदि पुलिस अपनी निगरानी में ले कर उन्हें अस्पताल पहुँचाती तो सम्भव है कि उनकी जान बच जाती।
▪️ थाना फ़िरोज़पुर झिरका के अधिकारियों ने घायल नासिर व जुनैद को लाने वाले अपराधियों से पूछताछ नहीं की गई। अपराधियों द्वारा दो व्यक्तियों को मार पीट कर घायल करने के बाद स्वयं थाने ले जाना और पुलिस का उन्हें बिना किसी पूछताछ के जाने देना पुलिस की लापरवाही एवं अपराधियों के साथ मिलीभगत को दर्शाती हैं।
▪️ मारपीट की जगह पीरू का जोतरी, थाना फिरोज़पुर झिरका और जलाए जाने की जगह लोहारू के बीच लगभग 300 किलोमीटर का फ़ासला है। इतनी दूरी तक, दो राज्यों के बीच, कई ज़िलों से होते हुए अपराधियों द्वारा स्वयं गाड़ी चला कर ले जाना और उन्हें किसी प्रकार की रोक-टोक न होना भी यह दर्शाता है कि अपराधी पूरी तरह बेख़ौफ़ हैं। यह दिलेरी और बेख़ौफ़ी पुलिस एवं प्रशासन की शह के बिना सम्भव नहीं है।
▪️ जब ग्रामीण पहाड़ी थाने में रिपोर्ट दर्ज कराने गए तो क्षेत्र का बहाना बना कर उन्होंने रिपोर्ट दर्ज नहीं की, जबकि क़ानून के अनुसार ज़ीरो रिपोर्ट किसी भी थाने में दर्ज कराई जा सकती है और बाद में उसे सम्बन्धित थाने में स्थानांतरित कर दिया जाता है।
▪️ इलाक़े में तथाकथित ”गोरक्षक दलों“ का सक्रिय रूप से, पुलिस एवं प्रशासन की मौजूदगी में आती-जाती गाड़ियों को रोकना, पशुओं को छीन लेना, व्यापारियों से चौथ वसूली करना, उनके साथ मारपीट करना, ये सब बातें बताती हैं कि इन अपराधियों की पुलिस एवं प्रशासन और सम्भवतः इलाक़े के राजनीतिक नेताओं के साथ गहरा गठजोड़ है।
प्रेस कांफ्रेस के माध्यम से की गई प्रमुख मांगें:—
▪️ पूरे मामले की उच्च स्तरीय जाँच कराई जाए तथा जाँच दल में पुलिस के उच्च अधिकारियों के साथ एक न्यायिक अधिकारी को भी शामिल किया जाए।
▪️ मृतकों के परिजनों को किसी भेदभाव के समानता के आधार पर मुआवज़ा दिया जाए तथा दोनों परिवारों के एक-एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाए। साथ ही दोनों मृतकों के बच्चों की मुफ़्त शिक्षा का प्रबन्ध किया जाए।
▪️ पीड़ित परिवारों तथा घटना के सभी गवाहों को सुरक्षा प्रदान की जाए।
▪️ क्षेत्र में सक्रिय तथाकथित “गोरक्षक दल“, अनेक नामों से काम कर रहे हैं और खुले आम हथियारों का प्रदर्शन और इस्तैमाल करते हैं तथा हथियारों के साथ अपने वीडियो भी सोशल मीडिया पर पोस्ट करते हैं। इन अवैधानिक दलों पर तुरन्त प्रभाव से हरियाणा और राजस्थान सरकारों द्वारा रोक लगाई जाए।
▪️ मेवात क्षेत्र में आए दिन गो तस्करी के नाम पर राजस्थान एवं हरियाणा, दोनों राज्यों की पुलिस द्वारा ग्रामीणों को परेशान किया जाता है जिनकी आजीविका ही दूध तथा दुधारू पशुओं का कारोबार है। अतः पुलिस द्वारा ग़रीब किसानों को परेशान किये जाने पर रोक लगाई जाए।
◾ सभा में सर्व सम्मति से निर्णय लिया गया कि यदि राज्य सरकार मुख्य आरोपी मोहित यादव उर्फ मोनू मानेसर सहित सभी आरोपियों के विरूद्ध संतोषजनक कार्रवाई नहीं करती है तो सर्व समाज के सभी जनसंगठन बड़ी संख्या में विरोध प्रदर्शन करेंगे और जन-आन्दोलन चलाएंगे।
सभा में शामिल राजस्थान के प्रमुख जनसंगठन :--
राजस्थान समग्र सेवा संघ, राजस्थान मुस्लिम फोरम, जमाअते इस्लामी हिंद राजस्थान, दमन प्रतिरोध आंदोलन राजस्थान, एपीसीआर राजस्थान, सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया, वहदत ए इस्लामी राजस्थान, जमीअत उलमा ए हिंद राजस्थान, ऑल इण्डिया मिल्ली काउंसिल राजस्थान, पीयूसीएल राजस्थान, वेलफेयर पार्टी ऑफ इंडिया राजस्थान, भारतीय बोद्ध महासभा, अंबेडकराइट पार्टी ऑफ इंडिया राजस्थान, मुस्लिम प्रोग्रेसिव फेडरेशन राजस्थान, जयपुर शिया कम्युनिटी, आजाद फाउंडेशन, इरादा सोसाइटी, अखिल भारतीय आदिवासी परिषद जनमोर्चा, एडवा, राजस्थान नागरिक मंच, एमपीएफ, एनएफआईडब्ल्यू राजस्थान, डब्ल्यूपीएफएम राजस्थान, फोरम फॉर डेमोक्रेसी एण्ड कम्यूनल एमिटी राजस्थान, ऑल इंडिया तंजीमे मिल्लत राजस्थान, ज्वाइंट एक्शन फॉरम राजस्थान, जनमोर्चा राजस्थान, आदिवासी विकास परिषद राजस्थान, आज़ाद समाज पार्टी राजस्थान, डेमोक्रेटिक फ्रंट राजस्थान, दलित एकता मंच तथा अन्य जनसंगठन।
प्रेस कॉंफ़्रेंस में मोहम्मद नाजिमुद्दीन के सी घुमारिया, टीसी राहुल , हाफिज मंजूर , अ सलाम जोहर ,शहाबुद्दीन खान ,मुजम्मिल रिजवी ,वकार अहमद ,निशा सिद्धू, डॉ दशरथ हिंनोनिया, अब्दुल लतीफ आर को ,शब्बीर कारपेट, डॉ इकबाल सिद्दीकी, अकरम जैदी ,मेमुना नरगिस, गजेंद्र हिदा, मुजाहिद नकवी,शैलेंद्र अवस्थी, साहिब आलम, शोएब खान, रहबर रज़ा एवं अन्य गणमान्य लोग शामिल रहे।